DBT APP: डीबीटी पोर्टल पर डाटा अपलोड में फीसड्डी पांच ब्लॉक के बीईओ

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यू-डायस पोर्टल पर छात्रों का प्रोफाइल डाटा अपलोड कराने में जिले के पांच ब्लॉक के बीईओ फीसड्डी साबित हुये हैं। इन बीईओ का वेतन बाधित किया जायेगा। पोर्टल पर छात्रों का डाटा अपलोड करने में कप्तानगंज ब्लॉक अव्वल साबित हुआ है। कुल 4654 स्कूलों के 15.7 लाख बच्चों का डाटा अपलोड होना है। इनमें से 6.38 लाख डाटा अपलोड हुआ तथा 9.30 लाख छात्रों का डाटा पेंडिंग हैं। इस मामले में बीएसए ने अपेक्षित प्रगति नहीं मिलने पर 347 स्कूलों के शिक्षक, शिक्षामित्र व अनुदेशकों के वेतन व मानदेय भुगतन पर पर रोक लगा चुके हैं तथा 31 एडेड स्कूलों के संचालकों को वेतन रोकने का नोटिस जारी किया है।


बेसिक समेत मान्यता प्राप्त, सहायता प्राप्त, संस्कृत बोर्ड, मदरसा, सीबीएसई, आईसीएसई बोर्ड, समाज कल्याण से संचालित स्कूल व राजकीय कुल 4654 स्कूल संचालकों द्वारा यू-डायस पोर्टल पर स्कूल से संबंधित जानकारी के साथ बच्चों का संपूर्ण प्रोफाइल फीड करना है। पिछले मार्च महीने में शुरू हुआ यह काम जिम्मेदारों के लापरवाही के चलते सिर्फ 69.74 फीसदी ही पूरा हो सका है। लाख प्रयास के बावजूद 30 फीसदी डाटा अपलोड होना बाकी है। जिले के विशुनपुरा, पडरौना, कसया, फाजिलनगर व दुदही ब्लॉक इसमें फीसड्डी चल रहे है। सबसे बुरा हाल दुदही ब्लॉक का है। वह सबसे निचले पायदान पर है। सबसे बेहतर कप्तानगंज, उसके बाद नेबुआ नौरंगिया, पडरौना शहर, हाटा व खड्डा आदि ब्लॉक हैं, जहां पर 71 फीसड्डी से अधिक हुआ है। एक सप्ताह पूर्व बीएसए डॉ. रामजियावन मौर्य ने सरकार के प्राथमिकता वाले कार्य में लापरवाही बरतने वाले जनपद के 2464 परिषदीय स्कूलों में से 317 परिषदीय विद्यालयों का राज्य की औसत प्रगति 53.07 प्रतिशत से कम होने तथा 30 परिषदीय स्कूलों में यू-डायस का काम शुरू नहीं होने पर नाराजगी जताते हुये कुल 347 परिषदीय स्कूलों में तैनात प्रधानाध्यापक, सहायक अध्यापक, शिक्षामित्र व अनुदेशक का वेतन अग्रिम आदेश तक रोक दिया है। वहीं बेसिक से संचालित 54 एडेड स्कूलों में 31 स्कूल संचालकों को वेतन रोकने का नोटिस जारी कर काम पूरा करने का निर्देश दिया है। इसके अलावा एडेड, वित्त विहीन, मदरसा, संस्कृत, समाज कल्याण विभाग से संचालित स्कूलों के यू-डायस का काम पूरा करने के लिए संबंधित विभाग के जिम्मेदारों को पत्र जारी मान्यता निरस्त करने की कार्रवाई करने की अपील किया है।

मदरसा व वित्त विहीन स्कूलों की लापरवाही से पिछड़ा रहा जनपद
-एक सप्ताह में डाटा अपलोड नहीं करने वाले स्कूलों की मान्यता होगी निरस्त
-परिषदीय, माध्यमिक व समाज कल्याण स्कूलों का 65 फीसदी से अधिक हुआ कार्य
पडरौना, मदरसा व वित्त विहीन स्कूल संचालकों की लापरवाही के चलते जनपद डीबीटी पोर्टल पर छात्रों का डाटा अपलोड करने में पिछड़ रहा है। सबसे बुरा हाल मदरसा का है, जहां पर सिर्फ 48.34 फीसदी डाटा अपलोड हुआ है। वहीं बेसिक से संचालित वित्त विहीन स्कूलों में 54 फीसडी हुआ है। सबसे ज्यादा बेसिक से संचालित स्कूलों में 87.60, माध्यमिक शिक्षा परिषद से संचालित स्कूलों में 65.10 व समाज कल्याण से संचालित स्कूलों में 64.88 तथा कुल मिलाकर पूरे जिले में 69.74 फीसडी डाटा अपलोड किया गया है।
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डाटा अपलोड में फीसड्डी पांच ब्लॉक के बीईओ को वेतन रोकने का निर्देश दिया गया है। शनिवार को आदेश जारी होगा। इसके अलावा जिस बोर्ड के स्कूलों की लापरवाही मिलेगी, उसकी मान्यता निरस्त करने की कार्रवाई की जायेगी। 347 परिषदीय स्कूलों के शिक्षक, शिक्षामित्र व अनुदेशकों का वेतन व मानदेय रोका जा चुका है, जहां पर डाटा फीडिंग पूर्ण हो गया है। उनका वेतन जारी करने का निर्देश दिया गया है।
-डॉ. रामजियावन मौर्य, बीएसए