कोरोना के बाद बढ़ रहा दूरस्थ शिक्षा का क्रेज

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कोरोना के बाद बढ़ रहा दूरस्थ शिक्षा का क्रेज 

● कोरोना की लहर के बाद संस्थानों ने ऑनलाइन शिक्षा का लिया था सहारा

● 2024 में स्थापना के बाद सर्वाधिक 81268 अभ्यर्थियों ने लिया है प्रवेश

प्रयागराज, । कोरोना के बाद लगातार दूरस्थ शिक्षा का क्रेज बढ़ता गया। इसकी बानगी उत्तर प्रदेश राजर्षि टंडन मुक्त विश्वविद्यालय के शैक्षिक सत्र 2024 में हुए दाखिले में देखने को मिली है। 1999 में विश्वविद्यालय की स्थापना से अब तक किसी एक सत्र में इतनी संख्या में प्रवेश नहीं हुए थे। 2024 में 126 प्रकार के पाठ्यक्रमों में सर्वाधिक 81268 प्रवेश हुए हैं। पिछले साल की तुलना में 10728 छात्र-छात्राओं ने अधिक दाखिला लिया है।

साल 2020 में कोरोना की पहली लहर आई थी। इसके बाद सभी शैक्षिक संस्थानों ने ऑनलाइन कक्षाओं का सहारा लिया। कोरोना के बाद की बात करें तो बीते चार साल में मुक्त विश्वविद्यालय के अलग-अलग पाठ्यक्रमों में 31 हजार से ज्यादा विद्यार्थियों की संख्या बढ़ी है। वर्ष 2021 में 51835 विद्यार्थियों ने प्रवेश लिया था। इसके बाद 2022 में यह संख्या बढ़कर 57100 हो गई। वर्ष 2023 में छात्र-छात्राओं की संख्या 69000 हो गई है।

विश्वविद्यालय के प्रवेश प्रभारी प्रो. जेपी यादव ने बताया कि वर्तमान सत्र में कुल 81268 विद्यार्थी अलग-अलग पाठ्यक्रम में पंजीकृत हैं। जुलाई सत्र में 70540 विद्यार्थियों ने प्रवेश लिया था। इसके बाद जनवरी सत्र में 10368 ने प्रवेश लिया है।

कुलपति प्रो. सीमा सिंह ने कहा कि विद्यार्थियों की संख्या एक लाख पूरा करने का लक्ष्य है। प्रवेश के लिए विद्यार्थियों को जागरूक किया जा रहा है।

पीजी डिप्लोमा के बंद हुए 40 कोर्स

यूजीसी के निर्देश के बाद मुक्त विश्वविद्यालय में संचालित हो रहे पीजी डिप्लोमा के तकरीबन 40 प्रकार के कोर्स बंद हो गए हैं। विश्वविद्यालय प्रशासन का दावा है कि यदि यह पाठ्यक्रम बंद न हुए होते तो इसी साल छात्रों की संख्या एक लाख के पार हो जाती।