रामपुर। बिलासपुर के एक उच्च प्राथमिक विद्यालय के प्रधानाध्यापक के खिलाफ छेड़खानी का मुकदमा दर्ज कराने वाली शिक्षिका को एससी-एसटी एक्ट में फंसाने की धमकी दी जा रही है। शिकायत पर मंडलायुक्त आंजनेय कुमार सिंह ने मंडलीय अपर आयुक्त द्वितीय के नेतृत्व में जांच कमेटी बनाई है। यह कमेटी 30 अप्रैल को गांव पहुंचकर अपनी जांच करेगी। कमेटी के सामने कोई भी अपनी बात रख सकता है।
बिलासपुर के एक उच्च प्राथमिक विद्यालय की शिक्षिकाओं ने प्रधानाध्यापक पर छेड़खानी और मारपीट का आरोप लगाते हुए 12 अप्रैल को बिलासपुर कोतवाली पहुंचकर शिकायत दर्ज कराई थी। पुलिस ने स्कूल की शिक्षिका की तहरीर के आधार पर प्रधानाध्यापक हरिराम दिवाकर के खिलाफ छेड़खानी का मुकदमा दर्ज किया था। इस मामले के तूल पकड़ने के बाद डीएम ने अपने स्तर से जांच कमेटी गठित की,
जिसकी रिपोर्ट के आधार पर बीएसए ने प्रधानाध्यापक को निलंबित भी कर दिया था। अब इसकी शिकायत कमिश्नर तक पहुंच गई।
शिक्षिका ने कमिश्नर से शिकायत करते हुए कहा कि प्रधानाध्यापक उनको एससी- एसटी एक्ट के मुकदमे में फंसाने की धमकी दे रहा है। शिक्षिका की शिकायत को कमिश्नर ने गंभीरता से लेते हुए जांच के लिए अपर आयुक्त द्वितीय सर्वेश कुमार गुप्ता के नेतृत्व में जांच टीम बनाई है। इस टीम में एमडीए सचिव अंजूलता, अपर नगर मजिस्ट्रेट प्रीति सिंह, एडी बेसिक बुद्ध प्रिय सिंह, उपमुख्य परीविक्षा अधिकारी राजेश चंद्र गुप्ता को शामिल किया गया है।
कमिश्नर ने बताया कि इस मामले की जांच बैठा दी गई है। जांच कमेटी 30 अप्रैल को गांव पहुंचकर बयान दर्ज करेगी। जांच रिपोर्ट मिलने के बाद आगे की कार्रवाई की जाएगी