Muzaffarnagar: खतौली तहसील क्षेत्र में एआरपी पद को लेकर छिड़ी जंग थमने का नाम नही ले रही है। खतौली एआरपी पद को लेकर अब एक महिला शिक्षिका पर दबंगई दिखाने का आरोप लगा है। सोमवार को खतौली में एआरपी के लिए चुने गए शिक्षक के साथ अन्य शिक्षक बीएसए कार्यायल पर पहुंचे। उन्होंने बीएसए से मिलकर धमकी मिलने की शिकायत की। बीएसए ने मामले की जांच के आदेश दिए हैं।
बेसिक शिक्षा विभाग के खतौली तहसील में एआरपी पद के लिए परीक्षा और इंटरव्यू की प्रक्रिया हुई थी। इसमें चयनित हुए एआरपी विकास सिंह चौहान सहित सिकंदरपुर खुर्द विद्यालय की महिला शिक्षिका राखी चौधरी ने भी आवेदन किया था, लेकिन अंत में विकास सिंह चौहान एआरपी चुने गए। अब एआरपी पद को लेकर विवाद शुरू हो गया है। सोमवार को महिला शिक्षक संघ की जिलाध्यक्ष वंदना बालियान सहित दर्जनों शिक्षक एआरपी के साथ बीएसए कार्यालय पहुंचे। उन्होंने बीएसए शुभम शुक्ला को एक शिकायती पत्र दिया। इसमें बताया कि एआरपी परीक्षा में विकास सिंह चौहान का चयन खतौली में हुआ है। उन्होंने बताया की परीक्षा के दौरान महिला शिक्षक राखी चौधरी व उनके कुछ साथी उनके विद्यालय पहुंचे थे और उन्हें परीक्षा में ना बैठने की धमकी देकर मानसिक रूप से प्रताड़ित किया गया। आरोप है कि अब महिला शिक्षक एआरपी पद से इस्तीफे का दबाव बना रही है। बीएसए को बताया कि शिक्षका दो शिक्षक संगठनों से जुडी है, जिस कारण राजनीतिक दबाव बनाकर स्थानीय लोगों से भी उन्हें परेशान करा रही है।
क्या कहती है राखी चौधरी : इस मामले में सिकंदरपुर खुर्द के विद्यालय में तैनात राखी चौधरी का कहना है कि एआरपी का यह आरोप निराधार है। मेरे द्वारा कोई धमकी उन्हें नही दी गई और ना ही परेशान कराया जा रहा है। उन्होंने गलत तरीके से एआरपी बनाया है। परीक्षा में मेरे नंबर अधिक थे। इंटरव्यू में उनको आगे किया गया है।
BSA बोले, पारदर्शी हुई परीक्षा : बीएसए शुभम शुक्ला का कहना है कि खतौली में एआरपी के पद पर विकास सिंह चौहान का चयन हुआ है। उन्होंने एक महिला शिक्षिका पर दबाव बनाकर पद से इस्तीफा देने का आरोप लगाया है। एआरपी परीक्षा के दौरान भी दबाव बनाने का मामला प्रकाश में आया था। परीक्षा पारदर्शी तरीके से नियमों के तहत हुई है। महिला शिक्षिका कुछ संगठन से जुड़ी हुई है। इस मामले की जांच कराई जाएगी।